चलचित्र

सोनी सब के ‘शुभ लाभ- आपके घर में’ में आखिरकार माँ लक्ष्‍मी के अंश अवतार ने जन्‍म लिया

सोनी सब का शो शुभ लाभ- आपके घर में’ जीवन और भक्ति पर आधारितविचारों को झकझोरने वाली अपनी कहानी से लगातार दर्शकों का मनोरंजन कर रहा है। यह शो अपने सबसे महत्‍वपूर्ण पड़ावों में से एक पर हैजहाँ एक घटनाक्रम आखिरकार एक सबसे बड़ी होनी में बदल रहा हैजिसकी दर्शकों को लंबे समय से प्रतीक्षा है।

कविता सविता को पागलों के वार्ड में पहुँचाने की अपनी सबसे बड़ी योजना पर काम करती है और केशव के आदमी गलती से माया का अपहरण कर लेते हैं। लेकिन प्रकृति की सारी शक्तियाँ श्रेया के पक्ष में आ जाती हैं और वह सविता को बचा लेती है और जंगल में माया को भी गुंडों से छुड़ा लेती है। माया उस अस्‍पताल में जाती हैजहाँ सविता भर्ती हैलेकिन अचानक उसे प्रसव-पीड़ा होने लगती है और वह परिवार को श्रेया के बारे में नहीं बता पाती है। इस बीच श्रेया को जंगल के बीच प्रसव-पीड़ा होती है और वहाँ उसकी मदद करने के लिये कोई नहीं है। हालांकिस्थिति एक चमत्‍कारिक मोड़ लेती है और आखिरकार वह शुभ घड़ी आती हैजब देवी लक्ष्‍मी के आठ अवतार श्रेया के इर्द-गिर्द इकट्ठे हो जाते हैं और बच्‍ची को जन्‍म देने में उसकी मदद करते हैं। देवी लक्ष्‍मी की कृपा से श्रेया आखिरकार माता के अंश अवतार को जन्‍म देती है!

अवतार रूपी इस छोटी-सी बच्‍ची की असाधारण शक्तियाँ किस तरह से काम करेंगी?

श्रेया की भूमिका निभा रहीं तनीशा मेहता ने कहा, “कहानी का नया हिस्‍सा फिल्‍माने में काफी रोमांचक थाक्‍योंकि घटनाक्रम को श्रेया की प्रसव-पीड़ा में बदलते हुए दिखाना बहुत चुनौतीपूर्ण था। माया को बचाने के बाद खुद जंगल में फंस जाने वाली श्रेया का चित्रण चुनौतीपूर्ण थाखासकर तबजब उसे जंगल के बीचों-बीच प्रसव-पीड़ा होती है। हालांकि माँ लक्ष्‍मी के आठ अवतार चमत्‍कारी बच्‍ची को सुरक्षित तरीके से जन्‍म देने में श्रेया की सहायता करते हैं। ऐसा किसी के भी साथ होना सबसे दुर्लभ और अभूतपूर्व है और इस सीक्‍वेंस की शूटिंग का अनुभव बेहतरीन था। आखिरकार दर्शक उस शुभ घड़ी को देखेंगे और मैं वाकई उत्‍साहित हूँ कि दर्शक इसके आगे क्‍या देखेंगेक्‍योंकि यह बच्‍ची कहानी में नये ट्विस्‍ट लेकर आने वाली है।

देवी लक्ष्‍मी की भूमिका निभा रहीं छवि पांडे ने कहा, “श्रेया ने अपनी गर्भावस्‍था के अंतिम चरण के दौरान इतनी कठिनाइयों को सहने के बावजूद बिलकुल निस्‍वार्थ भाव से सविता और माया की मदद की है। उसका निस्‍वार्थ और सत्‍यनिष्‍ठ स्‍वभाव उन प्रमुख कारणों में से एक हैजिनके लिये देवी लक्ष्‍मी ने उसे अपने अंश अवतार की माँ बनने का सम्‍मान दिया है। इसलिये जब जंगल में उसे प्रसव-पीड़ा हुईतब माता और उनके सभी आठ अवतारों ने आकर अद्भुत बच्‍ची को जन्‍म देने में उसकी सहायता की। मैं इस बच्‍ची के साथ सविता का लगाव और आने वाले नये ट्विस्‍ट्स देखने के लिये बहुत उत्‍साहित हूँ।” 

Yuva Media

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